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लॉकडाउन में लाखों श्रमिक पैदल चलने को हैं मजबूर- पायलट

देवेंद्र शर्मा...
जयपुर। प्रदेश कांग्रेस कार्यालय में शुक्रवार को लॉकडाउन के बीच एक अहम संयुक्त प्रेसवार्ता आयोजित की गई। इस प्रेसवार्ता में प्रदेश के डिप्ट सीएम सचिन पायलट, मंत्री खाचरियावास, एआईसीसी के सचिव जुबेर खान और धीरज गुर्जर मौजूद रहे।

मीडिया से वार्ता के दौरान डिप्टी सीएम पायलट ने केंद्र व यूपी सरकार पर जमकर निशाना साधते हुये कहा कि केंद्र के पास मजदूरों के लिए कोई नीति नही है। बच्चे, महिला और बुजर्ग लोगों की मदद के लिए केंद्र सरकार को आगे आना चाहिए था लेकिन ऐसा नहीं हुआ। देश में लॉकडाउन में लाखों श्रमिक पैदल चलने को मजबूर हैं। जब केंद्र सरकार से मदद नहीं आयी तब कांग्रेस की राष्ट्रीय अध्यक्ष सोनिया गांधी ने मजदूरों का किराया वहन करने का फैसला लिया।

पायलट ने कहा कि जब प्रियंका गांधी ने मदद की पेशकश की और 1 हजार बसों का प्रबंध किया तो यूपी सरकार ने बसों को परमिशन नहीं दी और तो ओर बाधा डालने के लिए अलग अलग बहाने बनाये गए। अंत में कांग्रेस नेताओं पर केस दर्ज हुए, नेताओं की गिरफ्तारी हुई।

पायलट ने कहा कि हम लोगों ने संकट के समय सोनिया गांधी की पहल पर मजदूरों के लिए बसों की व्यवस्था की लेकिन यूपी सरकार ने बस चलाने पर बाधा खड़ी की। यूपी सरकार का यह रवैया पूरे देश ने देखा है। हमने मानवता से बसों की व्यवस्था की थी इस समय में बड़ा मन रखकर काम करना होगा लेकिन यूपी सरकार और केंद्र सरकार ऐसा नहीं कर रही हैं।

प्रेसवार्ता को संबोधित करते हुये परिवहन मंत्री ने कहा कि मजदूरों की मदद हेतु वहां पर 1032 बसें पहुंचती, सीएम योगी ने खुद अनुमति की बात कही थी लेकिन इसके बावजूद इस पर सियासत की गई। उन्होंने कहा कि फिटनेस के नाम पर बसों को नहीं रोकेंगे लेकिन राजनीति के चलते बसों को रोका गया जो कि मजदूरों पर अन्याय के समान है।

प्रेसवार्ता को संबोधित करते हुए कांग्रेस राष्ट्रीय सचिव जुबेर ख़ान ने कहा प्रियंका गांधी को प्रवासी श्रमिकों की चिंता है इसके चलते ही यूपी सरकार को 1051 बसों की सूची दी गई लेकिन 1032 बसें उनके ऑनलाइन रिकॉर्ड में दिखाई गई।

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