जयपुर। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने आज महात्मा ज्योतिबा फुले की जयंती पर मीडिया से बातचीत में कहा कि फुले और डॉ. अंबेडकर, उस जमाने की बातें हैं और ज्योतिबा फुले ने तो जब शिक्षा को लेकर ही भेदभाव था और स्त्री शिक्षा को लेकर तो पाप समझते थे, उस जमाने में जो शुरुआत की, आज इतने लंबे अरसे बाद में महात्मा ज्योतिबा फुले, डॉ. अंबेडकर के जो विचार हैं और उस वक्त में जो जमाना था, आज देखें हम लोग, तो बहुत कुछ बदलाव तो आया है और बदलाव की आवश्यकता है। सामाजिक सुरक्षा भी और सामाजिक न्याय भी, सोशल सिक्योरिटी भी और सोशल जस्टिस भी, उसकी आज भी आवश्यकता है। छुआछूत मानवता पर कलंक है, मैं बार-बार कहता हूं। मानव-मानव के बीच में कोई भेदभाव करे, इससे बड़ा कलंक क्या हो सकता है? तो एक क्रांतिकारी विचार जब महात्मा ज्योतिबा फुले के थे, वो ही बाद में अंबेडकर साहब ने भी उनको आत्मसात किया और देश व दुनिया को बताया। तो आज के दिन तो आज एक प्रोग्राम में दोनों महापुरुषों को लेकर प्रोग्राम बना है, मैं समझता हूं एक अच्छा संदेश जाएगा और जरूरत है कि समाज की नई पीढ़ी को भी सच्चाई से रूबरू करवाएं। उन्होने कहा कि नई पीढ़ी को रूबरू करवाना आवश्यक है। न उसको आजादी के जंग के अंदर क्या-क्या त्याग बलिदान हुए, किन-किन महान नेताओं ने क्या-क्या त्याग किए, जेलों में बंद रहे, उसको षड्यंत्र करके भुलाया जा रहा है, भुलाने का प्रयास किया जा रहा है और जो माहौल देश में बनाया जा रहा है, वो उचित नहीं है। आज भी आवश्यकता है कि प्रेम, भाईचारा, सद्भाव रहे सभी जातियों, सभी धर्मों के बीच में, तब जाकर ये मुल्क आगे बढ़ेगा और देश से गरीबी समाप्त होगी, अमीर-गरीब का भेदभाव मिटेगा, आज अमीर-गरीब की खाई बढ़ती जा रही है। तो यह तमाम जो अगर हम विचार करें तो आवश्यक है कि आने वाली पीढ़ियों पर देश का भविष्य निर्भर करता है। देश का भविष्य निर्भर करता है, उन पर तो उनकी तरफ ज्यादा ध्यान देने की आवश्यकता है। इसलिए मैं बार-बार कहता हूं प्रधानमंत्री जी को, गृहमंत्री जी को, विशेष रूप से प्रधानमंत्री जी को, कल रामनवमी थी मान लीजिए, किसी राज्यों में दंगे भड़क गए। अब कहां तो मर्यादा पुरुषोत्तम श्री राम की बात हम करते हैं और कहां उनकी जयंती पर ही दंगे भड़क जाएं, तो आप सोच सकते हो कि देश किस दिशा में जा रहा है। आज अगर प्रधानमंत्री जी देश को संबोधित करें कि हिंसा जो भी करेगा, कोई जाति का हो, धर्म का हो, कोई वर्ग का हो, कोई व्यक्ति हो, कानून अपना काम करेगा, कोई बख्शा नहीं जाएगा, वो ही निर्देश राज्य सरकारों को दें कि राज्य सरकारों की ड्यूटी है कि यह काम करें, उसके अभाव के अंदर यह सब बातें होती हैं। हिंसा किसी कीमत पर बर्दाश्त नहीं की जाएगी यह प्रधानमंत्री जी के मुंह से पूरा देश सुनना चाहता है, उसके अभाव में जगह-जगह हिंसा हो रही है, तनाव हो रहा है, मैं समझता हूं कि देशहित में नहीं है वो। यह भाजपा नेता तो आग लगाने का काम करते हैं, मैंने पहले ही कहा आपको, आग को बुझाने के लिए कोई कॉन्ट्रीब्यूशन नहीं है। करौली के अंदर जो कुछ हुआ, सरकार ने अपना काम किया, अरेस्ट कर रहे हैं लोगों को, क्यों हुआ, कौन दोषी है, उसकी जड़ पर जाना चाहिए। यह जानबूझकर राजनीति कर रहे हैं क्योंकि राजस्थान में चुनाव आ रहे हैं और इनको ऊपर से इशारा है कि और तो तुम कुछ कर नहीं पाए, राजस्थान में 4 साल तक तो विपक्ष निकम्मा रहा, नाकारा रहा, भूमिका अदा नहीं कर पाया विपक्ष के रूप में, हमारी कमियां भी होंगी, उनको उजागर करते, कमियों को उजागर करने के बजाय ये लोग तो सरकार गिराने में लगे हुए थे। इसलिए जब अभी 4 साल कुछ नहीं कर पाए, एक के बाद एक अच्छे बजट आ रहे हैं, तो उससे घबराकर ऊपर से इनको इशारा किया गया है कि अब आपके पास एक ही रास्ता बचता है कि कैसे आप तनाव पैदा करो, किस प्रकार से माहौल खराब करो, हिंदू-मुस्लिम को लेकर आप ऐसा ध्रुवीकरण करो जिससे कि तुम्हारा चांस बढ़ जाए चुनाव में कामयाब होने के लिए। जनता इस बार कामयाब इनको होने देगी नहीं क्योंकि शानदार कल्याणकारी योजनाएं हैं स्वास्थ्य को लेकर, शिक्षा को लेकर, पानी, बिजली, सड़कें, सोशल सिक्योरिटी, शानदार बजट पेश किए गए हैं और गुड गवर्नेंस हो रही है। मुझे विश्वास है कि इस बार जनता इनको जवाब करारा देगी।
0 Comments